जिसका अंतिम संस्कार किया, वही बेटी वीडियो काल पर बोली … पापा मैं जिंदा हूं

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बिहार। जवान बेटी की मौत का मातम। घर ही नहीं, पूरे गांव में लोग शोक में डूबे थे। परिवार वाले एक माह से लापता चल रही बेटी अंशु का शव मिलने के बाद उसका संस्कार करके आए थे। पिता जवान बेटी को मुखाग्नि देने की हिम्मत नहीं जुटा पाए तो दादा ने अंतिम विदाई की रस्म निभाई। मामला बिहार के पूर्णिया जिले का है।

शुक्रवार को परिजन जिस बेटी का अंतिम संस्कार करके लौटे थे। वीडियो कॉल पर उसी की आवाज सुनाई दी -”पापा मैं तो अभी जिंदा हूं…”, तो हर कोई हैरत में पड़ गया। वीडियो काल के बाद अब पुलिस भी परेशान है कि आखिर वह अंशु कुमारी का शव नहीं तो किसका शव था। अंशु के परिवार वाले इस बात से परेशान हैं कि आखिर शव को पहचानने में उनसे गलती कैसे हो गई, जिस कारण उनकी जिंदा चलती-फिरती बेटी का दाह संस्कार कर दिया। यह घटना क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है।

एक माह से गायब थी बेटी, पिता ने की थी शव की शिनाख्‍त

जानकारी के मुताबिक, 15 अगस्त को थाना क्षेत्र के अकबरपुर ओपी के डढ़वा गांव स्थित नहर में उपलाता एक अज्ञात युवती का शव पुलिस ने बरामद किया था। सोशल मीडिया पर शव की तस्वीर वायरल होने पर बलिया ओपी क्षेत्र के तुलसी बिशनपुर निवासी विनोद मंडल ने शव की शिनाख्‍त कपड़ों के आधार पर अपनी बेटी अंशु कुमारी के रूप में की थी। कई दिनों का शव होने के चलते उसका चेहरा वीभत्स हो गया था। बताया जा रहा है कि प्रेम-प्रसंग के मामले में अंशु एक महीने से गायब थी। ऐसे में अज्ञात शव मिलने पर स्वजनों ने यह मान लिया था कि शायद अंशु की हत्या कर शव को नहर में फेंक दिया गया। उस अज्ञात शव की स्थिति से यह आशंका भी जताई गई थी कि दुष्कर्म बाद उसकी हत्या की गई है।

बेटी ने बताया उसने शादी कर ली है

अंशु कुमारी ने घर से गायब होने के बाद जानकीनगर थाना क्षेत्र के रुपोली हाल्ट निवासी अपने प्रेमी से मंदिर में शादी कर ली थी और वह अपने ससुराल में रह रही थी। मीडिया में खुद के दाह संस्कार होने की खबर आने पर अंशु विचलित हो गई। ऐसे में परिजनों की मर्जी के बिना शादी किए जाने का भय से निकल कर आखिरकार शुक्रवार को अपने मायके में वीडियो कॉल किया और खुद के जिंदा होने का प्रमाण दिया।

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